हेल्लो दोस्तों मेरा नाम राज है और आज मैं आप सबको मेरी एक गरम लड़कीसे सेक्स की कहानी सुनाने जा रहा हूँ. मुझे पूल खेलने का बहुत शौक था और अपने इस शौक को पूरा करने के लिए मैं कई बार क्लब जाता था. क्लब में और भी बहुत से लड़के लडकियां ये खेल खेलने के लिए आते थे. मैं इस indiansex ke खेल का काफी अच्छा खिलाडी था, इसलिए सब मेरे साथ खेलने को बेताब रहते थे.
वहां पर एक बहुत ही हॉट और गरम लड़कीपूजा भी पूल खेलने आती थी. वो बेहद ही उत्तेजक और कामुक थी, उसकी चूंचे बहुत बड़े और शानदार थे. जब वो पूल टेबल पर खेलती थी और शॉट लेने के लिए झुकती थी तो उसकी शर्ट में से उसके चुंचो की एक झलक मिलती थी.
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उसके चुंचे बहुत ही बड़े थे और झुकने पर उसके भारी चुंचे किसी का लंड भी खड़ा करने में समर्थ थे. मैं उसे देख के बहुत रोमांचित हो जाता था और मेरी उसकी चूत मारने की बहुत इच्छा थी.
पूजा एक बड़े बाप की बिगड़ी हुई औलाद थी जिसे मोजशोख और घुमने फिरने से फुरसत नहीं थी. वैसे उसके पीछे काफी लोग लट्टू थे क्यूंकि उसके बाप के पैसे को यह गरम लड़की दोनों हाथो से लुटाती थी, इस गरम लड़की पूजा के एक दो अफेर के बारे में मैंने भी सुना था.
मेरे मन में भी इस देसी जवानी की चुदाई मुड तो था ही. इस गरम लड़की की मटकती जवानी लंड मांगती थी और हम तो लंड देने ही बैठे थे. मैंने धीमे धीमे उससे नजदीकी की शरुआत की. धीरे धीरे हमारी बोलचाल शुरू हुई इस खेल से और फिर ये बोलचाल दोस्ती में बदल गयी. और आखिरकार एक दिन मुझे उसके चुंचे चूसने और चूत फाड़ने का मौका मिल ही गया. एक दिन दोपहर के वक़्त जब मैं पूल खेलने पहुँच तो पाया की पूरे पूल रूम में सिर्फ पूजा अकेली पूल खेल रही थी.
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मैं उसके पास गया तो उसने मुझसे हाथ मिलाया और एक मैच खेलने को कहा. वो एक बहुत ही ट्रांसपेरेंट सफ़ेद शर्ट पहन कर आई थी और ऊपर के दो बटन भी खुले हुए थे. इसमें से इस गरम लड़की के चुचें साफ़ दिखाई दे रहे थे और वो बहुत ही सेक्सी लग रही थी. हमने खेलना शुरू किया और मैं जान कर उस से हारने लगा. मैच जीतने के बाद वो इतना खुश हुई की उसने मुझे गले से लगा लिया. वो जैसे ही मेरे बदन से चिपकी, वैसे ही मेरा लंड खड़ा हो गया.
मैं अपने आप को बिलकुल नहीं रोक पाया और न चाहते हुए भी मैंने उसके होंठों को चूमना शुरू कर दिया. मैंने उसे धक्का देकर दीवार से चिपका दिया और पागलों की तरह उसके होंठों को किस करने लगा. वो भी पता नहीं क्यों, कुछ नहीं बोली और मुझे किस करती रही.
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कुछ पल बाद जब मैंने होश संभाला तो मैंने अपने आपको को इस गरम लड़की से दूर किया और जाने लगा. वैसे मैं ऐसा जानबूझ के कर रहा था ताकि उसे लगे की मैं अच्छा आदमी हूँ वगेरह. इस पर उसने पीछे से मेरा हाथ पकड़ लिया और मेरे होंठों को चूसने लगी और मेरे कपडे उतारने लगी. मैं समझ गया की वो भी मुझसे सेक्स करना चाहती थी और अपनी चूत की अधूरी प्यास बुझाना चाहती थी. मैं भी उसके कपडे उतारने लगा और उसने अब तक मेरे सारे कपडे उतार दिए थे.
मेरा लंड देखकर उसे काफी ख़ुशी हुई क्योंकि उसने आज तक कभी इतना मोटा और लम्बा लंड नहीं देखा था. मैं उसके चुंचे दबाने लगा और चूसने लगा. वो भी अपने हाथ से मेरे लंड को सहलाने लगी. काफी देर तक उसके चुंचों का रस चूसने के बाद मैंने उसे पूल टेबल पर लिटा दिया और उसकी गरम गरम और बिलकुल गुलाबी चूत चाटने लगा. जैसे ही मैंने उसकी चूत में अपनी जीभ डाली, वो बहुत ही कामुक हो गयी और उसने मेरे बाल पकड़ कर मेरा मूंह अपनी चूत पर चिपका दिया.
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अब मैं उसकी चूत को बुरी तरह से चाटने लगा और हम दोनों ही इसमें बहुत मज़े आ रहे थे.
अब तक वो पूरी तरह से गरम हो चुकी थी और मेरा लंड अपनी चूत में लेने के लिए तड़प रही थी. मैंने उसकी दोनों टंगे पकड़ कर चोडी की और उन्हें फैलाकर अपना लंड उसकी चूत पे रख दिया. इससे पहले की मैं कुछ करता उसने एक जोरदार धक्का मारा, और इस धक्के के साथ ही मेरा लंड उसकी चूत में घुस गया. वो और जोर जोर से झटके मारने लगी और मेरा लंड बार बार उसकी गुलाबी चूत को भेदने लगा. मुझे बहुत मज़ा आ रहा था और कुछ देर बाद मैं भी जोर जोर से धक्के मारने लगा और उसकी चूत का पूरा आनंद लेने लगा.
कुछ देर बाद मैंने पोजीशन चेंज की और खुद टेबल पर लेट गया और उसे मेरे लंड पे बिठा लिया और झटके देने लगा. वो भी कूद कूद कर झटके देने लगी. हम दोनों को खूब मज़ा आ रहा था.
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करीब 15 मिनट के बाद मैंने महसूस की किया अब मैं झड़ने वाला था और यह गरम लड़की भी लगभग झड चुकी थी. मैंने एक आखिरी जोर का झटका मारकर अपना लंड उसकी चूत से निकाल लिया. इस पर उसने मेरा लंड अपने मूंह में ले लिया और पूल टेबल से नीचे उतर गयी. वो उसे हाथ से हिलाने लगी और इतने में मैं झड गया और मेरे लंड से वीर्य की धार निकल पड़ी. उसने उसे अपने होंठों से चिपका कर अपने मूंह से लगा लिया और उसे चाटने लगी.
इसके बाद मैंने एक आखिरी बार उसके चुंचे दबाये और फिर हम दोनों अपने अपने कपडे पहनने लगे. इसके बाद वो अपने घर चली गयी और मैं पूल टेबल को साफ़ करने लगा. हालांकि मैंने चूत चुदाई बहुत बार की है, लेकिन लेकिन उस गरमा गरम लड़की की बिलकुल गुलाबी चूत और चुंचों जैसा आनंद और मज़ा और कहीं नहीं मिला.
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मैं आज जब भी जब वहां पर पूल खेलने जाता हूँ तो उस गरमा गरम लड़की पूजा के साथ की गयी चुदाई याद आ जाती है.